मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उड़ीसा में हुई रेल दुर्घटना को दुखद बताते हुए चंपावत में होने वाले सभी सांस्कृतिक कार्यक्रम और रोड शो को किया निरस्त।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चम्पावत विधायक के तौर पर एक साल का कार्यकाल पूरा होने पर चम्पावत वासियों को 50.54 करोड़ की 42 विभिन्न विकास योजनाओं की सौगात दी। इस दौरान जनता से संवाद करते हुए मख्यमंत्री ने कहा कि चम्पावत व प्रदेश के विकास के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। आदर्श चम्पावत की राह आदर्श उत्तराखंड की तरफ जाएगी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने चम्पावत के विकास के लिए 14 लोक महत्व की महत्वपूर्ण घोषणाएं भी की।
मुख्यमंत्री ने जिन विकास योजनाओं का लोकार्पण व शिलान्यास किया उनमें जनपद चम्पावत विधानसभा हेतु 9 करोड़ 82 लाख 89 हजार की तीन विकास योजनाओं का लोकार्पण तथा 23 करोड़ 45 लाख 29 हजार की 28 विकास योजनाओं का शिलान्यास शामिल है। इसमें लोहाघाट विधानसभा की 16.81 करोड़ की 10 योजनाओं का शिलान्यास तथा 45 लाख लागत की एक विकास योजना का लोकार्पण भी शामिल है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने सरकार द्वारा चलाई जा रही जनकल्याणकारी योजनाओं से सम्बंधित विभागों के स्टॉलों का निरीक्षण कर सभी स्टालों पर उपस्थित उद्यमियों, अग्रणी व प्रगतिशील किसानों, स्वयं सहायता समूह आदि का उत्साहवर्धन कर सराहना की। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में कृषि, कृषि उत्पादों,नवाचारों, उद्यमों को बढ़वा दिया जा रहा है। विभिन्न योजनाएं संचालित कर सीधा लाभ लाभार्थियों तक पहुंच रहा है।
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री द्वारा सूचना एवं लोक सम्पर्क विभाग, देहरादून द्वारा प्रकाशित विकास पुस्तिका व आदर्श चम्पावत की ओर बढ़ते कदम कलेंडर तथा जनपद चम्पावत की विकास पुस्तिका का विमोचन किया तथा उत्तराखंड भवन एवं अन्य सनिर्माण कर्मकार कल्याण बोर्ड चम्पावत के कैम्प कार्यालय का भी शुभारंभ किया।
इस अवसर पर बड़ी संख्या में उपस्थित क्षेत्रीय जनता का अभिवादन करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हम विकल्प रहित संकल्प के साथ उत्तराखण्ड को देश का सर्वश्रेष्ठ प्रदेश की बनाने की ओर अग्रसर है। श्रेष्ठ जनपद, श्रेष्ठ राज्य की परिकल्पना के तहत जनपद चम्पावत को आदर्श चम्पावत बनाया जा रहा है। उन्होंने चम्पावत उप-चुनाव की ऐतिहासिक विजय की वर्षगांठ के अवसर पर न्याय के देवता भगवान गोल्ज्यू की पवित्र व ऐतिहासिक भूमि चंपावत की समस्त देवतुल्य जनता का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि आप सभी के स्नेह, आशीर्वाद एवं सहयोग के कारण ही उन्हें विधानसभा में ऐतिहासिक नगरी चंपावत की आवाज बनने का सौभाग्य प्राप्त हुआ।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस एक वर्ष के कालखण्ड में उत्तराखण्ड के समग्र विकास के साथ ही चम्पावत को विकास की दृष्टि से प्रदेश का आदर्श एवं अग्रणी जनपद बनाने के लिए एक मजबूत आधार तैयार किया किया जा चुका है, जिस पर आने वाले वर्षों में विकास की एक शक्तिशाली इमारत तैयार की जाएगी। जनपद चम्पावत हेतु लोक निर्माण विभाग, पेयजल विभाग, सिंचाई विभाग सहित विभिन्न विभागों की जिन लोकार्पण व शिलान्यास किया गया है इन सभी योजनाओं के पूर्ण होने के बाद चंपावत में एक नए युग का सूत्रपात होगा। उन्होंने कहा कि श्रम विभाग के अधीन बीओसीडब्ल्यू बोर्ड द्वारा संचालित योजनाओं के माध्यम से एक वर्ष में करीब दो करोड़ रुपए से अधिक की सहायता राशि भी करीब 510 लाभार्थियों को प्रदान की गई है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि चम्पावत की जनता के आशीर्वाद के कारण आज हमारा राज्य “एक श्रेष्ठ राज्य“ व हमारा जनपद चंपावत “एक आदर्श जिला“ बनने की राह पर अग्रसर है। पिछला विधानसभा चुनाव कई अर्थों में ऐतिहासिक था क्योंकि उत्तराखंड की राजनीति में यह पहला अवसर था जब जनता-जनार्दन ने किसी एक दल को दोबारा सेवा का अवसर प्रदान दिया। एक साल पहले उपचुनाव में मिली जीत… हमारी नहीं चंपावत और इस प्रदेश की जनता की अपनी जीत थी, उसके द्वारा देखे गए विकास के सपने की जीत थी।
उन्होंने कहा कि आज उत्तराखंड के विकास की नई कहानी उत्तराखंड की जनता स्वयं लिख रही है। इस एक वर्ष के दौरान, हमने हर क्षण यह प्रयास किया है कि जितनी भी प्रदेश के सामने चुनौतियां हैं उन सभी का समाधान निकाला जाए और राज्य को विकास के पथ पर आगे बढ़ाया जाए। उत्तराखंड को विकसित राज्य बनाने का जो “विकल्प रहित संकल्प“ लेकर हम चल रहे हैं उसके कुछ पड़ाव हमने पार कर लिए हैं पर अभी कई पड़ाव पार करने बाकी हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारे युगदृष्टा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आशीर्वाद से उत्तराखण्ड की देवतुल्य जनता के जीवन को सुखमय बनाने के यज्ञ को पूर्णता प्रदान करने के लिए राज्य स्थापना की 25वीं वर्षगाठ तक चंपावत जिला शिक्षा, स्वास्थ्य, बागवानी, कृषि, पर्यटन, जैसे विभिन्न क्षेत्रों में आगे बढ़े इसके लिए हम पूर्ण मनोयोग से कार्य कर रहे हैं। चम्पावत के प्रत्येक गांव में सड़क, स्वास्थ्य, शिक्षा एवं संचार जैसी मूलभूत सुविधायें पहुंचे इसके लिए भौगोलिक आधार पर विभिन्न योजनाएं तैयार कर उन्हें धरातल पर लाने का प्रयास किया जा रहा है। चम्पावत के समग्र विकास तथा आम जनता की सुख – सुविधा के लिये चम्पावत में मुख्यमंत्री कैम्प कार्यालय की स्थापना भी की गई है,जिससे आप लोगों की समस्याओं का त्वरित समाधान निकाला जा रहा हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2021 में आदरणीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बाबा केदारनाथ की पवित्र भूमि से कहा था कि “इक्कसवीं सदी का तीसरा दशक उत्तराखण्ड का दशक होगा“। इसके लिए उनकी सरकार निरंतर, पूर्ण मनोयोग के साथ कार्य कर रही है। अंत्योदय परिवारों को तीन गैस सिलेंडर देने हों, प्रदेश की महिलाओं के लिये क्षैतिज आरक्षण की व्यवस्था को लागू करना हो, समान नागरिक आचार संहिता का मसौदा तैयार करना हो, जबरन धर्मांतरण पर रोक के लिये कानून बनाना हो, लैंड जिहाद और लव जिहाद को रोकने के लिए उठाए गए कड़े कदम हों, देश का सबसे कड़ा नकल विरोधी कानून बनाना हो, आंदोलनकारियों को आरक्षण देना हो, या फिर हाल ही में उच्च शिक्षा प्राप्त कर रहे प्रदेश के विद्यार्थियों की छात्रवृत्ति के लिए उठाए गए कदम हों, हमने इन सभी महत्वपूर्ण कार्यों को धरातल पर उतारने का प्रयास किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि चम्पावत जनपद वीरों की भूमि है और यहां पूरे उत्तराखंड की भांति ही लगभग प्रत्येक परिवार से कोई न कोई सदस्य सेना और अर्धसैनिक बलों में कार्यरत है,आज के इस अवसर पर आपका यह मुख्य सेवक जो एक सैनिक पुत्र भी है,आपको यह विश्वास दिलाता है कि मोदी के नेतृत्व वाली हमारी सरकार आपके हितों के लिए भी निरंतर प्रयास करती रहेगी। इस एक वर्ष के दौरान कई बाधाएं भी हमारे सामने आई, लेकिन सभी बाधाओं को दूर कर हमने प्रदेशहित के लिए कार्य करने का जो संकल्प लिया है जब तक उस संकल्प को पूर्ण नहीं कर देते तब तक हमारा प्रयास जारी रहेगा। उन्होंने कहा कि पिछले वर्षों में केंद्र सरकार द्वारा विभिन्न महत्वपूर्ण परियोजनाएं प्रदेश के लिए न केवल स्वीकृत की गई हैं बल्कि इनमें से कई पूर्ण होने की कगार पर भी हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारा प्रयास है कि हम जब भी हम कोई नीति बनायें उसमें सम्पूर्ण समाज और प्रत्येक वर्ग के विचारों और आवश्यकताओं का समावेश हो, क्योंकि हमें अपने में परिपूर्ण, उत्तम मॉडल विकसित करना है जिसे अन्य हिमालयी राज्य भी भविष्य में अंगीकार करें और सहर्ष अपनाएं। चंपावत में विकसित किया जा रहा विकास का मॉडल, उत्तराखण्ड समेत अन्य हिमालयी राज्यों का भी प्रतिनिधित्व करेगा और इसे राज्य के अन्य जिलों में भी दोहराया जायेगा।
उन्होंने कहा कि जनपद में लोगों की आजीविका बढाये जाने हेतु दुग्ध उत्पादन, मधु उत्पादन, कृषि, बागवानी, सुगन्धित पौधों और फूलों की खेती, स्थानीय मसालों की खेती,मार्केटिंग और होम स्टे निर्माण आदि को बढ़ावा दिया जा रहा है। टेली मेडिसिन, टेली एजुकेशन, टेली कम्युनिकेशन पर तकनीकी सहायता तथा प्रशिक्षण कार्यक्रमों हेतु विशिष्ट कार्ययोजनायें तैयार की जा रही हैं। चम्पावत को शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी जनपद बनाये जाने के लिए सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय अल्मोड़ा का चम्पावत में कैंपस भी बनाया जा रहा है। जिले के सभी विद्यालय भवनों का जीर्णाेद्धार, सौंदर्यीकरण सहित उनमें आवश्यक सुविधायें उपलब्ध करायी जा रही हैं।
उन्होंने कहा कि चंपावत जिला नदियों, वनों, धार्मिक व प्राकृतिक स्थलों से आच्छादित है, हमारी सरकार यहाँ की इन्हीं विशिष्ट संभावनाओं को सजाने और संवारने का कार्य कर रही है। यहां स्थित माँ पूर्णागिरी धाम में लाखों दर्शनार्थी और धार्मिक पर्यटक आते हैं। उनकी सुखद यात्रा के लिये भी एक विशिष्ट कार्ययोजना बनायी जा रही हैं। नए उत्तराखण्ड के संकल्प में “साहसिक-पर्यटन“ राज्य सरकार की प्राथमिकता है। इसके अंर्तगत साहसिक खेलों को बढ़ावा देकर भी इस क्षेत्र को एक नई पहचान दिलाये जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई जा रही हैं। उन्होंने कहा कि आज इस अवसर पर मुझे यह बताते हुए अत्यंत हर्ष हो रहा है कि बीएसएनएल की और से पूरे जनपद में 23 मोबाइल टावर लगाए जाएँगे, जिसके बाद पूरा चंपावत 4जी कनेक्टिविटी से जुड़ जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में एक नई कार्य संस्कृति के साथ हमारी सरकार प्रदेश में पूर्ण सुशासन स्थापित करने के लिए प्रतिबद्ध है। हम हर क्षेत्र में उत्तराखंड को सर्वश्रेष्ठ बनाने के लिए अपने “विकल्प रहित संकल्प“ के मंत्र को आत्मसात करते हुए आगे बढ़ रहे हैं। हम एक और जहां श्रेष्ठ उत्तराखंड निर्माण के लिए संकल्पबद्ध है, वहीं चंपावत को भी श्रेष्ठ बनाने के लिए कृतसंकल्पित हैं। जब तक हम उत्तराखंड के साथ ही चंपावत को भी सर्वश्रेष्ठ जिला नहीं बना देते चौन से नहीं बैठेंगे। क्योंकि श्रेष्ठ उत्तराखंड राज्य बनाने के लिए, श्रेष्ठ चंपावत जिला बनाना भी अत्यंत आवश्यक है। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर उड़ीसा के बालासोर में हुई भीषण रेल दुर्घटना में मृतकों के प्रति शोक संवेदना प्रकट करते हुए उनकी आत्मा की शांति के लिए 2 मिनट का मौन भी रखा। मुख्यमंत्री के निर्देश पर इस अवसर पर आयोजित होने वाले सभी सांस्कृतिक कार्यक्रम और रोड शो को निरस्त कर दिया गया।
इससे पूर्व मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने न्याय के देवता श्री गोल्ज्यू महाराज के दर्शन कर जनपद व पूरे प्रदेश की सुख शांति व समृद्धि की कामना की।
इस अवसर पर विभिन्न जन प्रतिनिधि, अधिकारीगण एवं बड़ी संख्या में क्षेत्रीय जनता उपस्थित थी।