ऋषिकेश।
उत्तराखंड में पर्यटन को आय का मुख्य साधन माना जाता है और ऋषिनगरी को योग की अंतरराष्ट्रीय राजधानी। अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव की तैयारियों में जुटा गढ़वाल मंडल विकास निगम बजट के अभाव में अपनी तैयारियों में पिछड़ता हुआ दिखाई दे रहा है। 35 लाख रुपये के अनुमानित बजट के सापेक्ष निगम को मात्र दस लाख रुपये में ही काम चलाना पड़ रहा है।
अपना इंफ्रास्ट्रक्चर और कर्मचारियों की अच्छी संख्या होने के बाद भी निगम को योग महोत्सव में बड़ी कामयाबी नहीं मिली। इसके पीछे शासन द्वारा निगम को योग महोत्सव के बजट में भारी कटौती करना माना जा रहा है।
2015 में शासन से निगम को योग महोत्सव संपन्न कराने के लिए एक करोड़ रुपये का भारी भरकम बजट मिला था। निगम ने भी योग महोत्सव को भव्य रूप देकर देश-विदेश से प्रतिष्ठित योग साधकों को बुलाया था लेकिन अगले वर्ष 2016 और 2017 में शासन ने बजट में 90 प्रतिशत की कटौती कर मात्र 10 लाख रुपये ही जारी किए जबकि निगम ने 35 लाख रुपये का अनुमानित बजट शासन से मांगा था।
Feb282017