विधायक प्रकरणः दुष्कर्म मामले की जांच एसपी क्राइम को मिली

भाजपा विधायक महेश नेगी पर दर्ज दुष्कर्म के मामले की जांच अब एसपी क्राइम लोकजीत सिंह की देखरेख में होगी। डीआईजी ने मुकदमे की विवेचना एसआईएस शाखा की उपनिरीक्षक आशा पंचम को सौंपी है। महिला दारोगा ने नेहरू कालोनी पुलिस से मुकदमे से संबंधित पत्रावलियां मांगी हैं। बतातें चले कि नेहरू कालोनी थाने में अल्मोड़ा निवासी महिला ने द्वाराहाट से भाजपा विधायक महेश नेगी पर दुष्कर्म का मुकदमा दर्ज कराया है।

वहीं, इस मुकदमे में विधायक की पत्नी रीता नेगी पर भी धमकी देने के गंभीर आरोप हैं। इस मामले की विवेचना पहले नेहरू कालोनी थाने की महिला एसआई नीमा रावत को सौंपी गई थी। महिला ने डीआईजी को पत्र लिखकर मुकदमे की विवेचना नीमा रावत को दिए जाने पर सवाल उठाए थे और विवेचना अन्य जांच एजेंसी से कराए जाने की मांग उठाई थी। जिस पर डीआईजी ने प्रकरण की विवेचना विशेष जांच प्रकोष्ठ (एसआईएस) की महिला उपनिरीक्षक आशा पंचम को सौंपी गई है।

डीआईजी ने बताया कि एसपी क्राइम लोकजीत सिंह की मानीटरिंग में विवेचना होगी और वह बराबर उन्हें प्रगति रिपोर्ट के बाबत अपडेट करेंगे। बताया जा रहा कि कुछ लोगों के बयान होने हैं जिसके लिए प्रक्रिया की जा रही है। वहीं, बाल आयोग ने डीएनए रिपोर्ट को लेकर कार्रवाई के लिए कहा था, इस मामले में साक्ष्य एकत्र कर सभी को कोर्ट में प्रस्तुत किया जाएगा।

पुलिस ने ब्लैकमेलिंग के मामले में महिला के पति के बयान देने के लिए नहीं आने पर सख्त रुख अख्तियार किया है। प्रकरण की जांच कर रहे सीओ सदर अनुज कुमार को जानकारी मिली है कि महिला के सैन्यकर्मी पति ने छुट्टी के बाद वापस ड्यूटी ज्वाइन कर ली है। वह बीएसएफ में तैनात हैं। पुलिस ने बीएसएफ कमोंडेंट को पत्र लिखकर महिला के पति को बयान देने के लिए दून भेजने को कहा है। डीआईजी जोशी ने बताया कि पत्र में अफसरों को बताया है कि मुकदमे में सैन्यकर्मी के पति के बयान महत्वपूर्ण हैं।