किसानों के चेहरे खिले, पहाड़ी फलों की मांग बढ़ने से दाम बढ़े

उत्तराखंड के पहाड़ी फलों की मांग अब मैदानी क्षेत्रों में भी हो रही है। नैनीताल और अल्मोड़ा क्षेत्र में विकसित की गई फल पट्टी से आडू, खुमानी, पुलम, काफल और लीची लोगों को काफी पंसद आ रही है। इस बार पहाड़ी फलों की पैदावार अच्छी होने से किसानों के चेहरे खिले हुए थे। लेकिन ओलावृष्टि और बरसात ने इन फलों को काफी नुकसान पहुंचाया। वहीं किसानों का कहना है कि मैदानी क्षेत्रों से आ रही मांग से पहाड़ी फलों के मूल्य में बढ़ोत्तरी हुई है जिससे उन्हें आर्थिक लाभ हो रहा है।

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पहाड़ी फलों के मैदानी क्षेत्रों में बेहतर दाम मिलने से किसान उत्साहित है। लेकिन पैदावार कम होने से निराश भी। पहाड़ी फल और सब्जी की मांग इतनी ज्यादा है कि हल्द्वानी मण्डी में रोजाना 2 करोड रुपए के पहाड़ी फल और सब्जी पहुंच रही हैं। फल और सब्जी के आढ़ती और एसोसिएशन के अध्यक्ष जीवन सिंह कार्की का कहना है कि गर्मी में पहाड़ी फलों की डिमांड मैदानी इलाकों में बढ़ने से मुनाफा बढ़ गया है। लेकिन ओलावृष्टि और अंधड से फलों के उत्पादन में कमी होने से किसानों को निराशा भी हाथ लगी है।